rashi sharma
rashi sharma 15 Nov, 2022 | 0 mins read

मैं साझेदार..................

ना हुड़क हूँ, ना लत हूँ, मैं तो अकेलेपन का मित्र हूँ.

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rashi sharma
rashi sharma 14 Nov, 2022 | 0 mins read

हर रात..................

जीवंत रात्रि की कहानी

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rashi sharma
rashi sharma 12 Nov, 2022 | 1 min read

मेरी ड़गर.......................

मेरी ड़गर और सबका किस्सा.

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rashi sharma
rashi sharma 11 Nov, 2022 | 0 mins read

किरण...............

उसे पता है उसके महत्व का, तभी तो भाव खाता है, इंतज़ार करवाता दिनों दिन, फिर कहीं जा के अपनी झलक दिखाता है.

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rashi sharma
rashi sharma 10 Nov, 2022 | 1 min read

खोने चले है....................

शहर का बदलना कुछ नया नहीं, हमारा उससे जुड़ना ऐ भी कोई बात नहीं.

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rashi sharma
rashi sharma 09 Nov, 2022 | 0 mins read

तू भी कभी जिन्दगी..................

मुझे चलाती है पर मुझे नहीं जानती, तेरे कितने चेहरे है, तू तो ऐ भी नहीं जानती.

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rashi sharma
rashi sharma 05 Nov, 2022 | 0 mins read

हर बात................

वो देख रहा है तेरा हाल कैसा है, तू भी तो तू उसके साथ का हक़दार कितना है.

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rashi sharma
rashi sharma 04 Nov, 2022 | 1 min read

बहाव...................

मुझे फिक्र नहीं साथ चाहिए, मुझे समझने वाला दिल चाहिए, रख लो सारा वक्त तुम खुद के लिए, मुझे तुम्हारे वक्त में से अपना हिस्सा चाहिए.

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rashi sharma
rashi sharma 03 Nov, 2022 | 0 mins read

सुर, साज और संगीत......................

बजता है तो विभोर कर देता है, आंसू झलकते है जब तो लगता है दिल छू लेता है, कौन कहता है मामूली है संगीत का हर साज़, बजता है तो लगता है सांस लेता है.

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rashi sharma
rashi sharma 02 Nov, 2022 | 0 mins read

चाँद छुपा..................

खुद की करने वाला, सबकी सुनने वाला, मनमौजी हूँ, मतलबी नहीं, हर वक्त कुछ ना कुछ सिखाने वाला.

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