जोगिड़ा सारा रा रा

होली के हुड़दंग में हास्य व्यंग से रचित कविता जो सभी को माननी चाहिए

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Varsha Sharma
Varsha Sharma 30 Mar, 2021 | 0 mins read
#contest

आज सुनाऊं फाग में कुछ पते की बात

अच्छी लगे तो दे देना आप सब मिलकर दाद

जोगीरा सा रा रा रा

पहले कवि सम्मेलन में कवित्री होती थी चार

आज देखो माहौल में कवित्री यों की भरमार

जोगीरा सा रा रा रा

पापा की परी होती हैं बेटियां जो लगाते हैं स्टेटस आज , कल तक गलियों में कहते थे यह है मेरा माल जोगीरा सा रा रा रा

एक फोन था घर में जो सबको जोड़ कर रखता था, अब तो घर में जितने मानस उतने मोबाइल यार जोगीरा सा रा रा रा

ट्रम्प आये दिल्ली में तो दिल्ली को चमकाया, मैं बेचारी सोचते रह गई हो आते हमारे गांव जोगीरा सा रा रा रा

नारी दुर्गा, नारी काली, नारी को शक्ति मानते बलात्कारियों का फिर भी कर सकते नहीं इलाज जोगीरा सा रा रा रा

अम्मा ने पढ़ने को भेजा था तुम को बाहर,

तुमने कर्तव्य की इतिश्री कर ली लेटर लिखकर चार

जोगीरा सा रा रा रा

पहले घर के आगे लिखते थे स्वागत है श्रीमान

अब लिखा होता ह है ,भैया कुत्तों से सावधान जोगीरा सा रा रा रा

आज आप सबसे करती हूं यह फरियाद कभी गलियों में ना लेना किसी भी मां का नाम जोगीरा सा रा रा रा

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Varsha Sharma

varshau8hkd

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