Sonnu Lamba
Sonnu Lamba 18 Sep, 2020
न्याय
आखिर मुझे न्याय मिल ही गया था, चारो ओर से बधाई के फोन आ रहे थे, और मैं सोच रहा था कि अपने वो दस साल कहां से लाऊं, जो मैने एक ऐसे गुनाह से बरी होने में लगा दिये, जो मैने किया हीनहीं था..।

Paperwiff

by sonnulamba

18 Sep, 2020

कहानी

Comments

Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓

Please Login or Create a free account to comment.