हर कुछ बदलने लगा है

जब आपके आस पास सब कुछ बदलने लग जाता है तो कुछ समझ नहीं आता कि ये बदलाव सही है या ग़लत।

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Saket Ranjan Shukla
Saket Ranjan Shukla 25 Nov, 2020 | 1 min read
#my_pen_my_strength

बदला बदला ये समाँ, बदले बदले से हालात हैं,

दिल का मौसम भी है बदला, बदले से जज़्बात हैं,


बदलते इस माहौल में अब हर कुछ बदलने लगा है,

अब तो जैसे ये सूरज भी, सहर में ही ढलने लगा है,


क्या क्या है बदला, ना जाने और क्या क्या बदलेगा,

समय के बदलते बहाव में, जाने कौन कैसे सँभलेगा,


बदलाव ये ज़रूरी था मगर इतनी भी क्या जल्दी थी,

जिन्हें नहीं मंज़ूर बदलना, उनकी भी क्या ग़लती थी,


बदलता जमाना ये, अब ज़माने को भी खलने लगा है,

गलत हो या सही, मगर अब तो हर कुछ बदलने लगा है।

BY:— © Saket Ranjan Shukla

IG:— @my_pen_my_strength

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Saket Ranjan Shukla

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