विश्वास करो! मैं एक डॉक्टर हूं..

डॉक्टर को इंसान ने ऐसे ही भगवान की उपाधि नहीं दी। दी है अब तो उसे पूरा करना सभी डॉक्टर मा फ़र्ज़ है।

Originally published in hi
Reactions 0
533
Jyoti agrawal
Jyoti agrawal 10 Jul, 2020 | 1 min read
Duty Happy_doctor's_day Responsibility


 राह में मिला एक राहगीर था थोड़ा घायल वो,

देख जान पड़ता की भीड़ा कहीं पागल वो,


जाना जरूरी था मेरा वहां से दिमाग ने कहा तू भी छोड़,

दिल के कोने से मेरा फ़र्ज़ पुकारा घायल है वो,


याद आयी वो शपथ जो मैंने ली थी सेवा की,

ख़ुद से ऊपर रखूंगी घायलों की सेवा को,


वो देख बहता खून और वो तड़पती आहें,

जाग जाता है मेरा अंदर का इंसान जो खुदा कहलाता है,


ज़ख्मी पड़े मौत के द्वार खड़े मुसाफिर को ,

ऐसे हीं नहीं एक इंसान में भी भगवान नज़र आता है।


इंसान ने दी भगवान की उपाधि एक सेवक इंसान को,

 कैस फ़र्ज़ को भुला दूं जब मर रहा वहीं इंसान हो।


दिल के हर एक चप्पे चप्पे से आवाज में आती है,

उठ और जा मदद कर यह बात ही तुझे डॉक्टर बनाती है।


ज्योति अग्रवाल


0 likes

Published By

Jyoti agrawal

jyotiagrawal_m

Comments

Appreciate the author by telling what you feel about the post 💓

  • Dr. Pratik Prabhakar · 3 years ago last edited 3 years ago

    डॉक्टर को इंसान ही समझिए, भगवान से तुलना न करें।। हम डॉक्टर्स अब बस सर्विस प्रोवाइडर बन के रहना चाहते हैं। भला कौन तथाकथित भगवान बनकर मार खाना चाहेगा।

Please Login or Create a free account to comment.